भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को राज्यसभा के लिए कुछ प्रमुख हस्तियों को मनोनीत करने का एलान किया है. उनमे जिन बड़े नामों का एलान हुआ है, उनमें एक नाम 73 वर्षीय डॉक्टर वीरेंद्र हेगड़े का है. जैन समुदाय से आने वाले डॉक्टर हेगड़े कर्नाटक के धर्मस्थल मंदिर के धर्माधिकारी हैं. उन्हें अपने दान और सामाजिक कार्यों के लिए कई अवॉर्ड भी मिल चुके हैं.
पीएम मोदी ने वीरेन्द्र हेगड़े के लिए ट्वीट किया
पीएम मोदी ने वीरेंद्र हेगड़े के नाम की घोषणा करते हुए कहा कि वह सामुदायिक सेवा में सबसे अगृणी हैं. पीएम ने ट्वीट किया, ‘वीरेंद्र हेगड़े उत्कृष्ट सामुदायिक सेवा में सबसे आगे हैं. मुझे धर्मस्थल मंदिर में प्रार्थना करने और स्वास्थ्य, शिक्षा और संस्कृति के क्षेत्र में उनकी ओर से किए जा रहे महान कार्यों को देखने का अवसर मिला है. वह निश्चित रूप से संसदीय कार्यवाही को समृद्ध करेंगे.’
आइये जाने वीरेंद्र हेगड़े और उनके कार्यो के बारे में
डॉ. वीरेंद्र हेगडे़ का जन्म 25 नवंबर 1948 को कर्नाटक के दक्षिण कन्नड़ स्थित बंटवाल तालुक में हुआ था. वे धर्माधिकारी रत्नवर्मा हेगड़े के बड़े बेटे हैं. वीरेंद्र हेगड़े दक्षिण कन्नड़ में स्थित श्री धर्मस्थल मंजुनाथ स्वामी मंदिर के अनुवांशिक ट्रस्टी हैं. जैन समुदाय से होते हुए भी उनका परिवार कई हिंदू समुदाय के मंदिरों का भी ट्रस्टी है. वीरेंद्र हेगड़े दिगंबर जैन समुदाय से आते हैं.
600 साल पुरानी परंपरा को आगे बढाया
वीरेंद्र हेगड़े को जैन समुदाय की करीब 600 साल पुरानी परंपरा को आगे बढ़ाने के लिए जाना जाता है. इतना ही नहीं कला और संस्कृति के प्रचार में भी उनका अहम योगदान रहा है. नैचुरोपैथी, योगा और नैतिक शिक्षा के प्रसार के लिए धर्मस्थल से जुड़े 400 हाईस्कूल और प्राइमरी टीचर हर साल इन विषयों में 30,000 छात्रों को शिक्षा देते हैं.
इतना ही नहीं 1972 से लेकर अब तक वे श्री क्षेत्र धर्मस्थल में हर साल सामूहिक विवाह कार्यक्रम भी करा रहे हैं. इन कार्यक्रमों के जरिए हजारों जोड़ों की शादी कराई जा चुकी है. इसके अलावा गरीब वर्ग के लिए हेगड़े ने बेंगलुरु, मैसूर समेत कई और शहरों में मैरिज हॉल भी खोले हैं.
कई क्षेत्र में किया विकाश कार्य
वीरेंद्र हेगड़े को कर्नाटक के तटीय क्षेत्र में ग्रामीण विकास प्रोजेक्ट्स को बढ़ावा देने के लिए भी जाना जाता है. उनके योगदान से अलग-अलग क्षेत्र के 600 गांवों और छह शहरों का विकास कार्य हुआ है. इन जगहों पर हेगड़े ने कृषि, तकनीक, महिला सशक्तीकरण, शिक्षा और स्वास्थ्य से जुड़े प्रोजेक्ट शुरू कराए हैं. हेगड़े कर्नाटक के गांवों में सौर ऊर्जा को बढ़ावा देने से जुड़े कार्यक्रम भी चला रहे हैं.
कई प्रसिद्द पुरस्कार से समान्नित है हेगड़े
वीरेंद्र हेगड़े को अपने दान और सामाजिक कार्यों के लिए कई अवॉर्ड भी मिल चुके हैं. इनमें कर्नाटक का सबसे बड़ा पुरस्कार कर्नाटक रत्न भी शामिल है. इसके अलावा उन्हें प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के शासन के दौरान साल 2000 में पद्म भूषण से सम्मानित किया जा चुका है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के शासन के दौरान 2015 में उन्हें पद्म विभूषण से सम्मानित किया गया था.